Not known Details About Shodashi
Wiki Article
एकान्ते योगिवृन्दैः प्रशमितकरणैः क्षुत्पिपासाविमुक्तैः
The anchor on the right hand reveals that the individual is anxious with his Convalescence. If created the Sadhana, gets the self self esteem and every one of the hindrances and obstacles are eliminated and each of the ailments are removed the symbol which can be Bow and arrow in her hand.
Shodashi is known for guiding devotees toward greater consciousness. Chanting her mantra encourages spiritual awakening, encouraging self-realization and alignment While using the divine. This profit deepens interior peace and wisdom, creating devotees much more attuned for their spiritual ambitions.
ह्रींमन्त्रान्तैस्त्रिकूटैः स्थिरतरमतिभिर्धार्यमाणां ज्वलन्तीं
॥ इति श्रीमत्त्रिपुरसुन्दरीवेदसारस्तवः सम्पूर्णः ॥
ह्रींमन्त्राराध्यदेवीं श्रुतिशतशिखरैर्मृग्यमाणां मृगाक्षीम् ।
हरार्धभागनिलयामम्बामद्रिसुतां मृडाम् ।
She's depicted with a golden hue, embodying the radiance in the climbing Sunshine, and is usually portrayed with a 3rd eye, indicating her wisdom and insight.
हन्यादामूलमस्मत्कलुषभरमुमा भुक्तिमुक्तिप्रदात्री ॥१३॥
कामेश्यादिभिराज्ञयैव ललिता-देव्याः समुद्भासितं
प्रणमामि महादेवीं मातृकां परमेश्वरीम् ।
यामेवानेकरूपां प्रतिदिनमवनौ संश्रयन्ते विधिज्ञाः
भर्त्री स्वानुप्रवेशाद्वियदनिलमुखैः पञ्चभूतैः स्वसृष्टैः ।
यह साधना करने वाला व्यक्ति स्वयं कामदेव के समान हो जाता है और वह साधारण व्यक्ति न रहकर लक्ष्मीवान्, पुत्रवान व स्त्रीप्रिय होता है। उसे वशीकरण की विशेष शक्ति प्राप्त होती है, उसके अंदर एक विशेष आत्मशक्ति का विकास होता है और उसके जीवन के पाप शान्त होते है। जिस प्रकार अग्नि में कपूर तत्काल भस्म हो जाता है, उसी प्रकार महात्रिपुर सुन्दरी की साधना करने से व्यक्ति के पापों का क्षय हो जाता है, वाणी की सिद्धि प्राप्त होती है और उसे समस्त शक्तियों के स्वामी की स्थिति प्राप्त होती है और व्यक्ति इस जीवन में ही मनुष्यत्व से देवत्व की ओर परिवर्तित होने click here की प्रक्रिया प्रारम्भ कर लेता है।